शाहिद हसन/नवादा!! दिनांक 23 जुलाई 2020 को रात 10:30 बजे अपराह्न में पीड़िता (बेबी कुमारी), पति- सुनील कुमार, ग्राम-छोटकी गुलनि, थाना-पकरीबरावां के घर पर एक दबंग (विक्रांत कुमार, पिता – स्व० रुपेश कुमार) ने अचानक हमला किया। पीड़िता ने दूसरे दिन पकरीबरावां थाना में अपनी रपट दर्ज कराई। दो दिन तक पुलिस की तरफ से कारवाही न होने पर पीड़िता ने ‘दिल्ली क्राइम प्रेस’ “टीम अधिकारी” के लीगल एडवाइजर (मिथिलेश कुमार) को घटना की जानकारी दी। मिथिलेश कुमार ने पीड़िता के साथ थाने पहुंचे। आवेदन प्राप्तकर्ता मनोज कुमार (ASI.) ने बताया की मैं कुछ नहीं कर सकता, जो भी करना है वो सब इंस्पेक्टर करेंगे। बहुत अफ़सोस की बात है की थाने में दो दिन से रपट जमा किया गया लेकिन सब इंस्पेक्टर को पता ही नहीं है। अंत में ‘डीसीपि० मोर्चा’ “टीम अधिकारी” के लीगल एडवाइजर (मिथिलेश कुमार) पीड़िता (बेबी कुमारी) के साथ सब इंस्पेक्टर (सर्फराज) से मुलाकात किया। अंततः घटना के बाद चौथे दिन पीड़िता को मिला न्याय। कहा जाता है की अगर क़ानून बहरा और अँधा हो जाये तो लोकतंत्र खतरे में पद सकता है। इसलिए दिल्ली क्राइम प्रेस क़ानून को जगाते हुए भारतीय लोकतंत्र की गरिमा को बचाने का काम कर रही है।