सौरभ त्यागी/नजीबाबाद!! मोहल्ला मजीदगंज निवासी अब्दुल कय्यूम की नगर के सराफा कारोबारी कल्पेंद्र वर्मा से मित्रता थी। सराफा कारोबारी ने अपने दो परिचितों मोहनपुर निवासी जगदीश और अरविंद के माध्यम से एक पीतल की खंडित मूर्ति का सौदा सोने की मूर्ति बताकर अपने मित्र अब्दुल कय्यूम से कराया था। नकली मूर्ति निकलने पर अब्दुल कय्यूम ने सराफा कारोबारी और मूर्ति बेचने वाले दोनों आरोपियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। अब्दुल कय्यूम ने पुलिस को बताया कि सोने की मूर्ति बताकर उसकी कीमत 22 लाख रुपये बताया था। 17 लाख रुपये में मूर्ति का सौदा हुआ तथा छह लाख रुपये का भुगतान किया गया। शेष धनराशि देने के दबाव पर अब्दुल कय्यूम ने जब मूर्ति को चेक कराया तो वह नकली पीतल की मूर्ति के टुकड़े निकले। अब्दुल कय्यूम ने अपने सराफा कारोबारी मित्र सहित तीन नामजद और एक अज्ञात के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई थी। मामले की जांच कर रहे जाब्तागंज चौकी प्रभारी कुमरेश त्यागी ने दो आरोपियों जगदीश और अरविंद को लाखों रुपये की ठगी मामले में गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया। पुलिस को सराफा कारोबारी और एक अज्ञात की लाखों रुपये की ठगी के मामले में तलाश है।